ब्रह्मसूत्र -वेदान्त दर्शन भगवान् श्री वेदव्यास ने इस ग्रन्थ में परब्रह्म के स्वरूप का सांगोपांग निरूपण किया है, इसलिए इसका नाम ब्रह्मसूत्र है तथा वेद के सर्वोपरि सिद्धान्तों का निदर्शन कराने...
श्री शंकर दिग्विजय आचार्य शंकर का दिग्विजय अभियान सर्वथा अहिंसात्मक अभियान था। आप इस ग्रन्थ में वर्णित शंकराचार्य के जीवनवृत्त में उनके बाल्यकाल, सन्यासग्रहण, व्यासदर्शन, कुमारिल, मण्डन मिश्र व उभयभारती...
भारतीय ज्योतिष की परम्परा में जन्म कुण्डली देखकर फलादेश करने के लिए सर्वप्रसिद्ध गन्थों में भूगुसंहिता, मानसागरी, बृहज्जातकम् तथा रावण संहिता और दशानन कृत ज्योतिष के सुनहरी सिद्धान्त सर्वविदित हैं...
नवग्रह उपासना और ग्रहदोष के उपाय समस्त ग्रहो के अनिष्ट प्रभाव से मुक्ति के लिए शास्त्रों में नवग्रह उपासना का विधान है I कभी -कभी नवग्रहों का अनिष्ट प्रभाव इतना...
श्री नृसिंह तंत्र (गढ़वाली शाबर) प्राचीन काल से ही भगवान् नृसिंह देव जी का आराधना उपासना, उनके मंत्रो का जप और तांत्रिक सिद्धिया बड़े ही पैमानों पर होती रही है...
ज्ञान ज्योतिष शास्त्र पर आघृत है। जन्म कुंडली का फल कथन सरल नहीं है। पाराशर का नाम भारतीय ज्योतिष के प्रब॑तकों में अग्रगण्य है। बृहत्पाराशर होरा शास्त्रम भारतीय 'फलित-ज्योतिष के अकाट्य सिद्धान्तों का...
लघुपाराशरी लघुपाराशरी महर्षि पाराशर प्रणीत ज्योतिष का अनमोल ग्रंथ है i इस ग्रन्थ में महर्षि पाराशर रचित ४२ श्लोक को संगृहीत किया गया है जिनके द्वारा किसी भी कुंडली का...