शिव संहिता हठयोग का प्राचीनतम ग्रन्थ है । इसके आदि प्रवक्ता स्वयं भगवान शिव हैं | यह हठयोग के तीन प्रमुख ग्रन्थों में सर्वोपरि है, अन्य दो ग्रन्थों 'हठयोग प्रदीपिका...
Author- Swami Rama श्री स्वामी राम की आध्यात्मिक जीवन-गाथा ‘‘हिमालय के सन्तों के संग निवास’’ मेरे जीवन का दर्पण है। इस ग्रन्थ में आप देखेंगे कि मैं कैसे बड़ा हुआ,...
Author- Paramhansa Yogananda यह व्यापक रुप से प्रशंसित आत्मकथा मानवीय अस्तित्व के सर्वोच्च रहस्यों में अविलम्ब गहरे तक प्रवेश कर उनका अविस्मरणीय विवेचन करती है, और हमारे युग की महान...
Hathyog Pradipika - Hathyog ka Utkarsh [Hindi] By Swami Swatmaram Publisher: Randhir Prakashan चित्त की वृत्तियों के सांसारिक प्रवाह को अन्तर्मुखी करने की प्राचीन भारतीय साधना पद्धति ही हठयोग है। हठयोग...
योग एक सहज प्रयास Author- Prem Bhatia योगाभ्यास से नाना प्रकार की शारीरिक व्याधियों एवं मानसिक तनावों से मुक्ति -योग के उपचारात्मक स्वरूप को प्रमाणित करता है l योगाभ्यास से...
Saral Yogasan Awam Pranayam [Hindi] by Ramesh Puri Publisher: Oshodhara
सरल योगासन एवं प्राणायाम
स्वाथ्य के चार आयाम है - शारीरिक, मानसिक, आध्यत्मिक, और समाजिक I केवल योग ही ऐसी पद्धति है जो इन चारो आयामो पर आधारित है I योग के आठ अंग है- यम, नियम, आसन, प्राणायाम, धारणा, प्रत्याहार, ध्यान और समाधि ई
स्वथ्य रहने के लिए आसन व् प्राणायाम का विशेष महत्व है I आसनो द्वारा शरीर को सुदृढ़ किया जाता है I प्राणायाम द्वारा मन पर नियंत्रण किया जाता है I परन्तु लोग योगासन करने से घबराते है I उन्हे लगता है आसन करना कठिन कार्य है I इस पुस्तक में केवल सरल आसन व् प्राणायामो का सरल भाषा में वर्णन किया गया है जो हम नित्य आसानी से कर सकते है I आसनो के अतिरिक्त इस पुस्तक में सूक्ष्म क्रियाओ पर विशेष चर्चा की गयी है I केवल सूक्ष्म क्रियाओ द्वारा ही हम शरीर को स्वस्थ रख सकते है I
सूक्ष्म क्रियाये अत्यंत सरल है I
इस पुस्तक में सूर्य नमस्कार, वज्रासन, अनुलोम-विलोम प्राणायाम और गहरे लंबे श्वासों पर विशेष चर्चा की गई है क्योकि स्वास्थ्य के लिए इनका विशेष महत्व है I इसके अतिरिक्त यम, नियम, प्रत्याहार, कुभक, बंध, चक्र, पंच प्राण, और योग निद्रा पर भी संक्षेप में सरल भाषा में चर्चा की गई है I