This book deals with the detailed results/ happenings in an individual’s life during the operation of various main periods, sub-periods and sub-sub periods of a planet. “ Dasha System” means...
Nakshatra System on Medical Astrology (2 Volumes Set) [English] by MK Viswanath Publisher: Nairs Publication Books Also, Check other parts : KAB2451 Nakshatra System on Medical Astrology (Volume 1) [English] KAB2452 ...
Starting with the Sapta-loka Mandala and the Tri-nadi Chakra, this book examines naksatra tattva where you would be amazed to find the clue to understanding Leonardo's Vitruvian Man. Puskara naksatra...
Basics of Nakshatra Padhathi( Marriage, Profession & Health) This book contains1) Stellar system in astrology2) Significations of Nodes3) Marriage and Dasha Vidhana Ponthanam4) Placement of Stars in Rashi Chakra or...
नक्षत्रों पर आधारित भविष्यवाणी का उद्गम वैदिक काल में हुआ था, तब इसे " वेदांत ज्योतिष" कहते थे I नक्षत्र शब्द संस्कृत से उतपन्न हुआ है एक विचार के अनुसार इसका अर्थ (नक्ष = प्रवेश ) + ( त्र = रक्षा करने वाला ) है I अत: कुल मिलाकर प्रत्येक नक्षत्र २८ देवताओ में से प्रत्येक का घर अथवा निवास होता है, जो नक्षत्रीय तथा सौर विकास की रक्षा तथा संचालन करते है I नक्षत्रों पर आधारित भविष्यवाणी का मुख्य आधार जन्म - नक्षत्र अथार्त जन्म के समय एक विशेष नक्षत्र में चन्द्रमा की स्थिति है I प्रस्तुत पुस्तक के आगे अध्ययन से पूर्व निम्नलिखित जानकारी/ आंकड़े उपलब्ध होना आवश्यक है-१. जिस वर्षे में जातक का जन्म हुआ है उस वर्ष का ज्योतिष पंचांग I२. जन्म स्थान के अक्षांश तथा रेखांश का निर्धारण करना I३. जातक के जन्म का ठीक समय, दिन, मास तथा वर्ष का निर्धारण यदि जन्म समय किसी देश के निर्धारित समय के अनुसार है तो अक्षांश के आधार पर जन्म का स्थानीय समय भी जानना आवयश्क है I स्थानीय समय निकालने का सूत्र इस प्रकार है : यदि मेरिडियन के पूर्व में स्थित स्थान पर जन्म हुआ है तोअक्षांश की प्रत्येक डिग्री पर उस देश के निर्धारित समय में ४ मिनट जोड़े और यदि जन्मस्थान मेरिडियन के पश्चिम में स्थित है तो अक्षांश की प्रत्येक डिग्री पर निर्धारित समय से ४ मिनट...
K P Krishnamurthi Paddhati Nakshatra Jyotish Janam Kundli Ka Nirman नक्षत्र ज्योतिष जन्म कुण्डली का निर्माण १. धरती माता २. पृथ्वी पर एक स्थान निर्धारित करना ३. आकाश ४.समय के...