Book Title: Aagam aur TantraAuthor: Brijbihari NigamLanguage: HindiPublisher: Ranjan Publications Description:"Aagam aur Tantra" by Brijbihari Nigam is a profound exploration of the ancient sciences of Aagam and Tantra, offering readers...
शिव संहिता हठयोग का प्राचीनतम ग्रन्थ है । इसके आदि प्रवक्ता स्वयं भगवान शिव हैं | यह हठयोग के तीन प्रमुख ग्रन्थों में सर्वोपरि है, अन्य दो ग्रन्थों 'हठयोग प्रदीपिका...
ब्रह्मसूत्र -वेदान्त दर्शन भगवान् श्री वेदव्यास ने इस ग्रन्थ में परब्रह्म के स्वरूप का सांगोपांग निरूपण किया है, इसलिए इसका नाम ब्रह्मसूत्र है तथा वेद के सर्वोपरि सिद्धान्तों का निदर्शन कराने...
श्री स्वरोदय Author- Ashok Sahajanand श्री कल्पादि जैनागमों में अष्टांग निमित्त में 'स्वर' को एक प्रधान अंग माना गया है l हठयोग प्राणायाम से सिद्ध होता है और प्राणायाम स्वरोदय...
Ravan Sanhita Author- Kishan Lal Sharma लंकापति रावण के दशानन होने को उसके बहुमुखी ज्ञान का प्रतीक भी माना जाता है I वह दसो दिशाओं का ज्ञाता था I उसे...